What are the home remedies to stop pregnancy? | गर्भनिरोध करने की प्राकृतिक तरीके?

 What are the home remedies to stop pregnancy? |प्रेगनेंसी रोकने के घरेलू उपाय?

What are the home remedies to stop pregnancy? |प्रेगनेंसी रोकने के घरेलू उपाय?_ ichhori.com

आजकल बाजार में प्रेगनेंसी रोकने के तमाम तरीके मौजूद हे |जिसमें कंडोम, गर्भनिरोधक गोलियां, इंट्रायूटरिन डिवाइस, इंजेक्शन और स्पर्म के कीलिंग जेल जैसे कई सारे उपाय हैं, जिनके प्रयोग से अनचाहे गर्भ को आसानी से रोका जा सकता है |मगर यदि कंडोम को छोड़ दिया जाए तो बाकी सारे तरीके शरीर में रसायन के प्रवेश की वजह से ही प्रभावी होते हैं |इन दवाइयों के कई साइड इफेक्ट होते हैं ,जेसे कि वजन बढ़ना ,जी घबराना ,वेजाइना मे जलन ,कई बार तो इन दवाईयो के रेगुलर इस्तेमाल के कारण महिला कभी भी प्रेगनेंट नही हो पाति है |

इसलिए कई बार यह सवाल उठता है कि क्या ऐसा और कोई तरीका नहीं है ,जिससे  की बिना किसी साइड इफेक्ट के आसानी से गर्भनिरोधक किया जा सके |क्योंकि गर्भनिरोधक बच्चों में अंतर रखने के साथ-साथ महिलाओं को अपनी पर्सनल और प्रोफेशनल लाइफ मे तालमेल बिठाने के लिए अनिवार्य रूप से चाहिए होता है |

हमारे पुरातन आयुर्वेद में हर मर्ज की दवा है| गर्भ नियंत्रण भी इससे अछूता नहीं है| हमारे आयुर्वेद में ऐसे कई सारे सस्ते और घरेलू उपाय हैं जिनसे आसानी से अनचाहे गर्भ को रोका जा सकता है| हालांकि इन उपायों के भी सक्सेस रेट केमिकल वाले गर्भनिरोधक की तरह 9o to 95% रहता है|

1- अरंडी के बीज- अरंडी के बीज को फोड़कर उसमें मौजूद सफेद गोली जैसे बीज को निकाल ले, यह बीज प्रेगनेंसी रोकने में काफी फायदेमंद माना जाता है| यदि असुरक्षित यौन संबंध बना लिए जाए तो इसे अनवांटेड पिल की तरह 72 घंटे के भीतर ले लिया जाए तो गर्भधारण की संभावना खत्म हो जाती है| इसके अलावा इसका सेवन पीरियड के 3 दिनों तक किया जाए तो महीने भर तक किसी गर्भनिरोधक की आवश्यकता नहीं होती है|

2- नीम का तेल- नीम के तेल का परंपरागत रूप से एंटीबैक्टीरियल ऑयल के रूप में उपयोग किया जाता है |मगर आपको यह जानकर हैरानी होगी कि इसका उपयोग आप  स्पर्म किलिंग जेल के रूप में भी कर सकते हैं| फिजिकल रिलेशनशिप बनाने की पहले आप यदि नीम के तेल को वैजिनल क्रीम की तरह इस्तेमाल करते हैं, तो यह इस्तेमाल करने के 5 घंटे तक प्रभावी रहता है| इसके उपयोग से गर्भधारण को आसानी से रोका जा सकता है| सबसे खास बात इसकी यह है कि वजाईना मे लुब्रिकेंट देने के साथ-साथ बिना साइड इफेक्ट के गर्भधारण को रोकने में मदद करता है|

3- अनानास- प्रेग्नेंट महिलाओं को अनानास ना खाने की सलाह दी जाती है ,क्योंकि इसमें कुछ ऐसे तत्व पाए जाते हैं जो गर्भस्थ शिशु को नुकसान पहुंचा सकते हैं| मगर यदि आप प्रेग्नेंट नहीं होना चाहती है तो रोजाना अनानास का सेवन करें इसमें मौजूद तत्व प्राकृतिक गर्भ निरोध करने का कार्य करते हैं||

4- पपीता- अनानास की तरह का पपिता भी प्रेगनेंसी में नहीं खाना चाहिए| खास तौर पर शुरुआत के 3 महीनों में तो यदि इसका सेवन किया जाता है तो प्रेगनेंसी टर्मिनेट होने के चांसेस भी हो जाते हैं| यदि आप रोजाना टेबलेट खाने से बचना चाहती है तो आप अपनी डे टुडे लाइफ में पपीते का सेवन कर कर अनचाहे गर्भ से बच सकते हैं| यदि आप अपने पार्टनर को भी रोजाना पपीता का सेवन कर आते हैं तो उनकी भी फर्टिलिटी कम होने की संभावना रहती है|

5- सूखी खुबानी- यदि फिजिकल रिलेशन बनाने के तुरंत बाद सूखी खुबानी खा ली जाए ,तो प्रेगनेंसी रहने के चांसेस ना के बराबर हो जाते हैं |इसके अलावा यदि रोजाना सूखी खुबानी को शहद और पानी के साथ मिलाकर रोजाना सेवन किया जाए तो यह गर्भनिरोधक गोली की तरह असर करती है|

6- खट्टे फल यानी कि विटामिन सी- नींबू ,आंवला और अमरूद जैसे फलों में साइट्रिक एसिड काफी मात्रा में होता है |जो इसे खट्टा बनाता है |और यह विटामिन सी का अच्छा स्त्रोत माने जाते हैं |विटामिन सी का नियमित सेवन गर्भनिरोधक के लिए काफी बेहतर विकल्प साबित होता है| गर्भधारण से बचने के लिए रोजाना विटामिन सी को भरपूर मात्रा में सेवन करने की सलाह दी जाती है |असुरक्षित यौन संबंध के बाद यदि विटामिन सी की दो या तीन खुराक ले ली जाए तो प्रेग्नेंट होने के चांसेस कम हो जाते हैं|

7- अजवाइन- हमारे किचन का महत्वपूर्ण मसाला अजवाइन का उपयोग पेट की समस्याओं के लिए हम सभी उपयोग में लेते हैं, मगर आपको यह जानकर हैरानी होगी कि इसके नियमित सेवन से यह गर्भनिरोधक की तरह भी कार्य करता है|

8- कपास के पौधे की जड़- सुखी कपास की जड़ गर्भनिरोधक में काफी लाभदायक होती है| इसकी जड़ की चाय बनाकर पीने से या फिर गर्म पानी के साथ सेवन करने से हार्मोन ऑक्सीटोकीन रिलीज होता है जो गर्भधारण रोकने से मदद करता है|

9- जंगली गाजर के बीज- असुरक्षित यौन संबंध के बाद जंगली गाजर के बीज का सेवन 7 दिन तक लगातार कर लिया जाए, तो यह प्रोजेस्ट्रोन सिंथेसिस में असंतुलन उत्पन्न करकर प्रेगनेंसी को रोक देते हैं| मगर कई बार इसके प्रयोग से महिलाओं को कब्ज होने की शिकायत भी हो जाती है|

10- आंवला- प्रेगनेंसी रोकने में आंवला काफी असरदार साबित होता है |इसे प्रयोग करने के लिए आंवले के पाउडर के साथ रसनजनम और हरितकारी को समान मात्रा में लेकर पाउडर बना लें |यह  किसी भी आयुर्वेदिक स्टोर पर आसानी से उपलब्ध हो जाती है |इन पाउडर के मिश्रण का सेवन यदि महिलाएं पीरियड के 4 थे दिन से 16 वे दिन तक करे तो गर्भनिरोधक गोलियों की तरह यह कारगर होता है|

यह तो कुछ दवाईओ के जरिए प्रेग्नेंसी रोकने के तरीके हैं इसके अलावा और भी तरीके हैं जिससे कि प्रेगनेंसी रोकी जा सकती है|

1- स्पर्म का प्रवेश रोककर- सेक्स के दौरान जब फिजिकल रिलेशन बनाए जाते हैं, तो मेल पार्टनर अपने स्पर्म महिला की वजाइना में रिलीज कर देते हैं| मगर इस प्रक्रिया में मेल पार्टनर फिजिकल रिलेशनशिप बनाने के बाद अपना स्पर्म महिला की वजाईना में डिस्चार्ज करने के बजाए स्पर्म डिस्चार्ज होने के वक्त खुद को अपने पार्टनर से अलग कर लेता है और स्पर्म का डिस्चार्ज वजाइना में होने से रोक देता| इस तरह काफी हद तक स्पर्म और एग एक दूसरे के कांटेक्ट में नहीं आते हैं और प्रेगनेंसी नहीं होती है|

2- कैलेंडर के हिसाब से शारीरिक संबंध बनाए- जिन महिलाओं के पीरियड्स रेगुलर होते हैं ,उनके लिए यह तरीका काफी कारगर साबित होता है| क्योंकि यदि पीरियड रेगुलर होते हैं तो पीरियड के आठवें दिन से 16 वे दिन तक महिला के फर्टाइल होने के चांसेस ज्यादा रहते हैं |इन दिनों में शारीरिक संबंध बनाना यदि अवोइड़ कर दिया जाए तो प्रेगनेंसी के चांसेस काफी कम हो जाते हैं|

3- टेंपरेचर काउंट रखें- पूर्णता स्वस्थ महिला जिनके पीरियड थोड़े से अनरेगुलर रहते हैं ,वह टेंपरेचर काउंट के जरिए खुद को प्रेग्नेंट होने से रोक सकती हैं| इसके लिए आपको रोजाना दिन में तीन बार अपने शरीर का टेंपरेचर लेना होता है| क्योंकि ऐसा कहा जाता है कि डिंब उत्सर्जन के दौरान शरीर का तापमान बढ़ जाता है जब आपको शरीर का तापमान बड़े तो आप उस समय फिजिकल रिलेशन बनाने से बचे या फिर प्रिकॉशन के साथ फिजिकल रिलेशन बनाए इस तरह टेंपरेचर काउंट के जरिए भी आप अपनी प्रेगनेंसी को मैनेज कर सकती हैं|

4- फर्टिलिटी टेस्ट- अनचाहे गर्भ से बचने के लिए सबसे आसान तरीका फर्टिलिटी के वक्त को पहचानना होता है| दरअसल प्रत्येक महिला पीरियड शुरू होने के 8 में से 16 दिन के बीच फर्टाइल होती है|  यानी कि इस दौरान महिला शारीरिक संबंध बनाने से प्रेग्नेंट हो सकती है |मगर ऐसा नहीं है कि वह पूरे 10 दिन तक फर्टाइल होने की कंडीशन में रहे |पूरे महीने में 48 घंटे का साइकिल होता है जब महिला के फर्टाइल होने के चांसेस होते हैं| ऐसे में इन 48 घंटों का पता करने के लिए महिलाएं घर पर ही फर्टिलिटी टेस्ट फर्स्ट युरिन के जरिए कर सकती है| यदि आपको फर्टिलिटी टेस्ट पॉजिटिव आये तो इस दौरान आप फिजिकल रिलेशंस अवोइड़ करे या फिर इस दौरान  प्रोटेक्शन का विशेष ध्यान रखे|

इन सभी उपायों को अपनाने के पहले एक बार अपनी फिजिकल हेल्थ को ध्यान में रखते हुए डॉक्टर से सलाह जरूर ले लेनी चाहिए|

विनीता मोहता विदिशा


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